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अन्न नहीं भावे नींद न आवे विरह सतावे मोय। | अन्न नहीं भावे नींद न आवे विरह सतावे मोय। | ||
घायल ज्यूं घूमूं खड़ी रे म्हारो दर्द न जाने | घायल ज्यूं घूमूं खड़ी रे म्हारो दर्द न जाने कोय।।1।। | ||
दिन तो खाय गमायो री, रैन गमाई सोय। | दिन तो खाय गमायो री, रैन गमाई सोय। | ||
प्राण गंवाया झूरता रे, नैन गंवाया दोनु | प्राण गंवाया झूरता रे, नैन गंवाया दोनु रोय।।2।। | ||
जो मैं ऐसा जानती रे, प्रीत कियाँ | जो मैं ऐसा जानती रे, प्रीत कियाँ दु:ख होय। | ||
नगर ढुंढेरौ पीटती रे, प्रीत न करियो | नगर ढुंढेरौ पीटती रे, प्रीत न करियो कोय।।3।। | ||
पन्थ निहारूँ डगर भुवारूँ, ऊभी मारग जोय। | पन्थ निहारूँ डगर भुवारूँ, ऊभी मारग जोय। | ||
मीरा के प्रभु कब रे मिलोगे, तुम मिलयां सुख | मीरा के प्रभु कब रे मिलोगे, तुम मिलयां सुख होय।।4।। | ||
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14:10, 2 जून 2017 के समय का अवतरण
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प्रभु जी तुम दर्शन बिन मोय घड़ी चैन नहीं आवड़े।।टेक।। |