ककुभ् - संज्ञा स्त्रीलिंग (संस्कृत)[1]
1. दिशा।
2. शोभा। सौन्दर्य।
3. चंपक की माला।
4. शास्त्र।
5. एक रागिनी।
6. आकाश का चतुर्थांश।
7. श्वास।
8. अनलंकृत केश या मूँछ; जैसे- लटकते हुए बाल[2]।
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टीका टिप्पणी और संदर्भ
संबंधित लेख
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ककुभ् - संज्ञा स्त्रीलिंग (संस्कृत)[1]
1. दिशा।
2. शोभा। सौन्दर्य।
3. चंपक की माला।
4. शास्त्र।
5. एक रागिनी।
6. आकाश का चतुर्थांश।
7. श्वास।
8. अनलंकृत केश या मूँछ; जैसे- लटकते हुए बाल[2]।
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